How to grow parijat plant at home : आपको अक्सर शाम या रात के समय पार्क के आसपास से गुजरते हुए एक सुगंधित खुशबू आती होगी, जो दिल दिमाग को तरो ताजा कर देती है। लेकिन क्या आपको पता है कि यह तेज खुशबू किस फूल की होती है, अगर नहीं तो हम आपको बता दें कि आसपास के वातावरण को सुगंधित करने वाले उस फूल को पारिजात के नाम से जाना जाता है।
आमतौर पर पारिजात का पौधा झाड़ीदार पेड़ की तरह होता है, जिसमें सफेद रंग के खूबसूरत फूल उगते हैं। शहरों में पारिजात के फूल को हरसिंगार या रात की रानी के नाम से भी जाना जाता है, क्योंकि इस फूल की खुशबू रात के समय आसपास के वातावरण में फैलकर उसे सुगंधित कर देती है।
घर पर उगा सकते हैं रात की रानी
ऐसे में अगर आप भी रात की रानी को घर के गार्डन (Home Gardening) में उगाना चाहते हैं, तो इसके लिए आपको बहुत ही सिंपल टिप्स को फ्लो करना होगा। आपको बता दें कि पारिजात का फूल और पौधा न सिर्फ गार्डन की सुंदरता बढ़ता है, बल्कि इसका इस्तेमाल पारंपरिक दवाईयां बनाने और रोग का उपचार करने के लिए जाता है। इसे भी पढ़ें – घर के गमले में इस तरह से उगाएं मोगरे का पौधा, खुशबू से भर जाएगा आपका आंगन
घर पर पारिजात के पौधे को उगाने के लिए आप मध्यम या बड़े आकार के गमले का इस्तेमाल कर सकते हैं, गमले का चुनाव आप गार्डन, छत या बालकनी के साइज के हिसाब से कर सकते हैं। कई लोगों को लगता है कि पारिजात के पौधे को लगाने के लिए बहुत ज्यादा चाहिए होती है, लेकिन यह बिल्कुल भी सच नहीं है।
पारिजात के पौधे को लगाने के लिए आपको सबसे पहले मिट्टी के गमले में काली मिट्टी और खाद को एक साथ मिक्स करके भरना होगा, जिसके बाद आप गमले में पारिजात का छोटा पौधा लगा दीजिए। गमले में पौधे को बो देने के बाद उसके ऊपर थोड़े से पानी का छिड़काव करें, इस दौरान आपको ध्यान रखना होगा कि गमले में अतिरिक्त पानी जमा न हो और जल निकासी की अच्छी व्यवस्था हो।
पारिजात के पौधे की बुआई का सबसे अच्छा समय गर्मी और बरसात का मौसम होता है, जबकि सर्दी के मौसम में इस पौधे को बोने से परहेज करना चाहिए। इसके साथ ही पारिजात के पौधे की मिट्टी की समय समय पर गुड़ाई करते रहना चाहिए, जबकि पौधे के अतिरिक्त टहनियों की कटिंग करते रहें। इसे भी पढ़ें – इस तरह घर पर गमले में उगाए केमिकल मुक्त देसी खीरा, 3 महीने में तैयार हो जाएंगे स्वादिष्ट खीरे
पारिजात के पौधे की देखभाल
घर पर पारिजात का पौधा लगाने के दौरान आपको उसका ख्याल रखना पड़ेगा, जिसके तहत पौधे की मिट्टी में नमी बने रहना सबसे आवश्यक है। इसके साथ ही पारिजात के पौधे को हर दिन लगभग 6 घंटे सूर्य की रोशनी जरूर रखना चाहिए, हालांकि यह पौधा ज्यादा समय तक सूर्य की रोशनी या गर्मी बर्दाश्त नहीं कर पाता है।
ऐसे में जरूरी है कि पारिजात के पौधे को नियमित रूप से धूप दिखा कर छायादार जगह पर रखना चाहिए, ताकि उसे तेजी से फलने फूलने में मदद मिले। इस पौधे के गमले में अतिरिक्त पानी जमा न होने दें, इससे पारिजात के पौधे की जड़े जल्दी सड़ने लगती हैं। इसके अलावा सर्दी के मौसम में पारिजात के पौधे को रोजाना पानी देने से परहेज करना चाहिए।
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विभिन्न उपचारों के लिए इस्तेमाल होता है पारिजात
पारिजात का पौधा और फूल सिर्फ सुंगधित ही नहीं होते हैं, बल्कि इसमें कई औषधीय गुण से भरपूर होता है। इस पौधे की मदद से चिकनगुनिया और डेंगू जैसी गंभीर बीमारी का इलाज किया जा सकते है। इसके अलावा पारिजात में एंटी बैक्टीरियल तत्व भी मौजूद होते हैं, जो बदलते मौसम में सर्दी, जुकाम और खांसी जैसी समस्याओं से सुरक्षा प्रदान करता है।
इसके अलावा पारिजात की पत्तियों को पानी में उबाल कर सेवन करने से जोड़ों के दर्द और पेट संबंधी समस्याओं से भी छुटकारा मिलता है, क्योंकि इस पौधे की पत्तियों में इम्यूनिटी को बूस्ट करने वाले तत्व पाए जाते हैं। पारिजात के पत्ते त्वचा पर लगे घाव के निशानों को दूर करने और एलर्जी संबंधी समस्या को दूर करने में मददगार साबित होता है।
इस तरह पारिजात के पौधे से न सिर्फ आपका घर और गार्डन सुगंधित हो उठेगा, बल्कि इसकी मदद से आप कई प्रकार की बीमारियों और बैक्टीरिया से छुटकारा भी पा सकते हैं। इसके अलावा पारिजात के फूलों से आने वाली तेज सुगंध से मक्खी और मच्छर जैसे कीड़े घर से दूर रहते हैं, जिससे आप गंभीर बीमारियों के संपर्क में आने से बच सकते हैं।
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