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11 सरकारी नौकरियों को ठुकरा किसान का ये बेटा RAS अधिकारी बन कर ही माना

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राजस्थान: आज के दौर में भला सरकारी नौकरी कौन नहीं करना चाहता। लोग सरकारी नौकरी पाने के लिए दिन-रात एक कर देते हैं। कोचिंग सेंटरों में जा-जा कर चप्पलें तक घिसा देते हैं। फिर भी कभी परीक्षा में रह जाते हैं, तो कभी इंटरव्यू के दौरान बाहर हो जाते हैं। इन सबके बावजूद जो लगातार मेहनत करना नहीं छोड़ता वह एक दिन ज़रूर सफल होता है। अंत में उसी की अलग पहचान बनती है।

आज भी हम आपको एक ऐसे ही आएएस अधिकारी (RAS Officer) की कहानी बताने जा रहे हैं, जो वैसे तो सामान्य परिवार के रहने वाले हैं। किंतु उनके द्वारा किए काम को देखकर आप कभी उन्हें सामान्य व्यक्ति नहीं कहेंगे। उन्होंने अपने जीवन में कई सरकारी नौकरियाँ तो बिना ज्वाइन किए ही छोड़ थी। इस बात से आप उनकी महत्ता को आप समझ सकते हैं। आइए जानते हैं कौन हैं वह अधिकारी।

श्याम सुंदर बिश्नोई (RAS Officer Shyam Sunder Bishnoi)

इनका नाम श्याम सुंदर बिश्नोई (RAS Officer Shyam Sunder Bishnoi) है। ये राजस्थान के बीकानेर (Bikaner) जिले के खाजूवाला विधानसभा क्षेत्र के गाँव गुलुवाली के रहने वाले हैं। ये बेहद साधारण से किसान परिवार से तालुक रखते हैं। इन्होंने बचपन में ही अधिकारी बनने का सपना देखा था।

इस दौरान ये तमाम प्रतियोगी परीक्षाएँ देते रहते थे। जिसमें इनका कई बार सेलेक्शन भी हो गया, लेकिन इन्होंने अपने अधिकारी बनने के सपने को हमेशा प्राथमिकता दी और कई नौकरियों को ऐसे ही छोड़ दिया। अतत: वह एक दिन भी इनकी ज़िन्दगी में भी आ गया जब ये अपनी मेहनत के दम पर बतौर अधिकारी सेलेक्ट हुए। वर्तमान में ये चित्तौड़गढ़ में बतौर एसडीएम कार्यरत हैं।

12 नौकरियों में अब तक हुआ इनका चयन

  1. कांस्टेबल सीआईडी (राजस्थान पुलिस)
  2. पटवारी, राजस्व मंडल
  3. शिक्षक ग्रेड तृतीय (सामाजिक विज्ञान)
  4. शिक्षक ग्रेड द्वितीय (अंग्रेजी)
  5. सब इंस्पेक्टर, राजस्थान पुलिस
  6. अधिशासी अभियंता, नगर पालिका
  7. स्कूल व्याख्याता (भूगोल)
  8. ज़िला परिवहन अधिकारी (डीटीओ)
  9. ग्राम सेवक
  10. कॉपरेटिव इंस्पेक्टर
  11. असिस्टेंट प्रोफेसर (कॉलेज शिक्षा)
  12. आरएएस अधिकारी (RAS Officer)

इस तरह बीता शुरुआती जीवन

श्याम सुंदर बिश्नोई (RAS Officer Shyam Sunder Bishnoi) का जन्म 7 फरवरी 1988 को खाजूवाला के गुलुवाली गाँव में हुआ था। इनके पिता का नाम धूड़ाराम बिश्नोई था और माता का नाम सुशीला देवी था। शुरुआती पढाई इन्होंने गाँव के सरकारी स्कूल से ही पूरी की हुई है। इसके बाद उच्च शिक्षा के लिए ये बीकानेर के महाराजा गंगासिंह विश्वविद्यालय (Maharaja ganga singh university) को चुना। वहाँ से स्नातक व भूगोल, इतिहास में एमए पास किया फिर बीएड पास किया। ये भूगोल विषय से यूजीसी नेट (UGC NET) की परीक्षा भी उत्तीर्ण कर चुके हैं। इन्होंने साल 2016 में आरएएस (RAS) की परीक्षा का चौथा प्रयास दिया था जिसमें इन्हें 14 वीं रैंक मिली थी।

कामयाबी को अग्रसर है पूरा परिवार

इनके पिता भले ही किसान हैं। लेकिन उन्होंने कभी बच्चों की पढ़ाई में कोताही नहीं बरती। श्याम सुंदर के आज दो भाई हैं और एक बहन। एक भाई संदीप कुमार (Sandeep kumar) राजस्थान पुलिस में कांस्टेबल है जिसकी तैनाती बीकानेर जिले में है। वहीं दूसरा भाई पवन (Pawan) प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी में जी जान से जुटा है। इनकी एक बहन सुमित्रा (Sumitra) भी है। श्याम सुंदर फिलहाल विवाह के बंधन में भी बंध चुके हैं। इनकी पत्नी मनीषा (MANISHA) और इनकी एक तीन साल की बेटी मनस्वी भी है।

इन्हें मानते हैं अपना प्रेरणा स्त्रोत

श्याम सुंदर अपनी तैयारी के दिनों को याद करते हुए बताते हैं कि वह बीकानेर में ही रूम लेकर प्रेमसुख डेलू (IAS Premsukh Delu)जो कि उनके चचेरे भाई हैं। उन्हीं के साथ तैयारी किया करते थे। प्रेमसुख डेलू गुजरात में वर्तमान में बतौर एसपी तैनात हैं। डेलू की पढ़ाई और लगन को देखकर श्याम सुंदर उनसे बेहद प्रभावित हुए थे। इसलिए उन्हें ही वह अपना प्रेरणा स्रोत मानते हैं। डेलू की दादी रिश्ते में श्याम सुंदर के पिता की बुआ लगती हैं। इसलिए दोनों बचपन से ही एक दूसरे को जानते थे।

कई सालों तक की मेहनत

श्याम सुंदर उन युवाओं के लिए प्रेरणास्रोत हैं। जो एक दो साल मेहनत करके निराश हो जाते है। श्याम सुंदर बताते हैं कि उनकी पहली नौकरी 2011 में बतौर कांस्टेबल लगी थी इसके बाद 2016 तक कड़ी मेहनत की और साल 2016 में बतौर आरएएस अधिकारी चयनित हुए। इस दौरान पांच ऐसी भी नौकरियाँ मिली जिन्हें श्याम सुंदर ने ज्वाइन तक नहीं किया। श्याम सुंदर बताते हैं कि वह लगातार परीक्षाएँ देते रहते थे ताकि अपने कौशल को परखा जा सके। साथ ही परीक्षाओं में बैठने का अनुभव और पैटर्न समझा जा सके। इस दौरान उनकी कुल 12 नौकरी लगी।

अब IAS की जगह ले चुके हैं श्याम सुंदर

श्याम सुंदर (RAS Officer Shyam Sunder Bishnoi) को वर्तमान में राजस्थान सरकार ने अजमेर एसीएम के पद से चित्तौड़गढ़ उपखंड अधिकारी के रूप में तैनात किया है। लॉकडाउन में चित्तौड़गढ़ के उपखंड अधिकारी बेहद चर्चा में चर्चा में रही थे। इस पद पर श्याम सुंदर से पहले तेजस्वी राणा तैनात थी। जो कि बेहद तेज तर्रार थी। इन्होंने अप्सरा चौक पर बेगू से विधायक राजेंद्र सिंह बिधूड़ी की गाड़ी का चालान कटवा दिया था। इसके बाद इनका तबादला हेल्थ इंश्योरेंस एजेंसी जयपुर में बतौर मुख्य अंदर कार्यकारी अधिकारी कर दिया गया था। इस दौरान इनका नाम मीडिया में ख़ूब आया था।

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News Desk
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