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कैश के साथ शगुन के लिफाफे में क्यों दिया जाता है 1 रुपया, आज जान लो उस 1 रुपए का असल महत्व

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Logic behind giving one rupee extra while gifting cash – भारत में हर तीज त्यौहार बहुत ही धूमधाम से मनाया जाता है, फिर चाहे वह दिवाली हो या फिर राखी और भाई दूज। ऐसे में हर त्यौहार पर एक दूसरे को शगुन के रूप में पैसे देने का रिवाज है, लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि शगुन में हमेशा एक रूपया अलग से क्यों दिया जाता है।

किसी को जन्मदिन पर गिफ्ट के रूप में कैश दिया जाए या फिर नई दुल्हन को मुंह दिखाई, लिफाफे में 100, 500 रुपए के साथ 1 रुपए का सिक्का भी रखा जाता है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि शगुन के रूप में दिए जाने वाले उस सिक्के का क्या महत्व है, अगर नहीं… तो आज इस राज से पर्दा उठ जाएगा।

शगुन नहीं उधार होता है 1 रुपया

अगर आप भी किसी को गिफ्ट के रूप में 501 रुपए देते हैं, तो आप उस व्यक्ति को असल में 500 रुपए दे रहे हैं जबकि 1 रुपया उसके ऊपर उधार के रूप में चढ़ जाता है। ऐसे में जब अगली बार वह व्यक्ति आपको गिफ्ट के रूप में 501 रुपए देता है, तो असल में वह आपके 1 रुपए का उधार उतार रहा होता है।

यह प्रथा काफी प्राचीन समय से चली आ रही है, क्योंकि भारतीय किसी भी शुभ काम की शुरुआत 0 से करना अच्छा नहीं समझते हैं। ऐसे में सिर्प 50 या 500 रुपए देने पर 0 रह जाता है, जिसकी वजह से 1 रुपया अलग से शगुन के रूप में दिया जाता है। इस तरह रिश्तेदारों के बीच कैश का लेने देन चलता रहता है और 1 रुपया हर बार शगुन के रूप में उधार की तरह दिया और लिया जाता है। आप में से बहुत से लोग 501 रुपए शगुन के रूप में देते होंगे, लेकिन उस 1 रुपए से जुड़ा असल महत्व शायद आपको आज पता चला होगा।

0 के बिना अधूरा है गणित

यूं तो भारत ने पूरी दुनिया को शून्य देने का काम किया है, जिसके बिना गणित के किसी भी सवाल को हल नहीं किया जा सकता है और न ही किसी संख्या को बढ़ाया जा सकता है। लेकिन उसी भारत में रहने वाले लोग 0 से साथ पैसों के लेने देने को शुभ नहीं मानते हैं।

हालांकि इस रिवाज के पीछे भारतीयों का मानना है कि वह 1 रुपए के साथ अपने रिश्तेदारों और करीबियों के बेहतर भविष्य की कामना करते हैं। इसके साथ ही 501 रुपए में से भले ही 500 रुपए खर्च कर दिए जाए, लेकिन वह 1 रुपया हमेशा बच जाता है। जिसे बड़ों का आशीर्वाद, प्यार और पॉजिटिव एनर्जी के रूप में घर पर ही रखा जाता है।

अब यह आपके ऊपर निर्भर करता है कि आप सदियों से चली आ रही इस परंपरा का पालन करते हैं या फिर नए दौर के साथ गिफ्ट्स देने की परंपरा निभाते हैं। लेकिन हर भारतीय के लिए शुगन का 1 रुपया बहुत ही महत्वपूर्ण होता है, जिसके बिना कैश अधूरा ही लगता है।

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Shivani Bhandari
Shivani Bhandari
शिवानी भंडारी एक कंटेंट राइटर है, जो मीडिया और कहानी से जुड़ा लेखन करती हैं। शिवानी ने पत्रकारिता में M.A की डिग्री ली है और फिलहाल AWESOME GYAN के लिए फ्रीलांसर कार्य कर रही हैं।

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